Syl VM || वैदिक गणित पाठ्यकम 01 || कक्षा 3 से 5 तक ||

वैदिक गणित पाठ्यकम 01 

|| कक्षा 3 से 5 तक ||

वर्तमान पाठ्यकम मे वैदिक गणित की दृष्टि से कक्षानुसार निम्नलिखित विषयो -उपविषयो का भी समावेश किया जाए :-

1. सीधी गिनती (एकाधिकेन व एकाधिकेन चिन्ह (•) के उपयोग)

*एकाधिकेन पूर्वेण का प्रयोग 

2. उल्टी गिनती,  (एकन्यूनेन व एकन्यूनन चिन्ह (*) के उपयोग)।

*एकन्यूनेन पूर्वेण का प्रयोग

3. शून्य की कल्पना – एक-एक वस्तु लेकर एकन्यूनेन कराते हुए शून्य तक ले जाना एवं शून्य के चिह्न की प्राथमिक जानकारी देना । 

4. परम मित्र अंक 

5. पुनरावृत्ति, दहाइयों में गिनती, 1 से 100 तक सीधी व उल्टी गिनती। 

12 या 21 अथवा 45 या 54 समान अंकों से बनी संख्या को छोटे बड़े में पहचानना और नाम बताना।

6. परम मित्र की सहायता से एक से 10 तक जोड़ना। 

7. पूरक अंक की सहायता से जोड़ना (2 में क्‍या जोड़ें कि 7 बन जाए ।) 

8. 2-2, 3-3, 4-4, 5-5, ......... 10-10 करके गिनना वे पहाड़े बनाना।

9. ऋणांक (विनकुलम्‌) की कल्पना। 

10. बीजांको का ज्ञान

11. योग - 100 से 999, योगफल 999 से अधिक न हो। एकाधिकेन विधि

12. योग की जांच विधि (बीजांको द्वारा)

13. घटाना - तीन अंकों तक (परम मित्र अक) 

14. गृणा - एक अक का एक अक से, दो अंकों की सख्याओं का निखिल सूत्रों से। 

15. गृणा - तीन अक का तीन अक से,  निखिल सूत्रों से। 

16 गृणा - एक अक का एक अक से, दो अंकों की सख्याओं का ऊध्वीतिर्यक्‌ सूत्रों से। 

17. गुणा-शून्यांत गुणा, गृुण्य अधिकतम 3 अंक व गुणक 2 अंक। 

18. पहाड़ा 11 से 20 तक (वैदिक विधि से)

19. गुणा - ऊर्ध्वतिर्यक्‌ सूत्र (3 HH x 3 WH) |

20. विभाजनीयता 2,3,5,7,9,11 आदि (विलोकनम्‌ व लिख कर) 

21. भाग - निखिल सूत्र (भाजक 2 अंक), 

22. परावर्त्य (भाजक 2 अंक), 

23. ध्वजांक (भाजक 2 अंक )

24. लघुतम समापवर्त्य (विलोकनम्‌ एवं अनुरूप्येण विधि), 

25. महत्तम समापवर्तक (संकलन -व्यवकलनाभ्यां विधि)।

26. सख्याओं को दुगुना करना । 

27. सख्याओं को आधा करना । 

28 -30 व्यावहारिक गणित (1)

मापों का ज्ञान एवं परस्पर विनिमय -क्रियात्मक पद्धति से 

(क) मुद्रा-रुपए व पैसे 

(ख) तौल-ग्राम, किलोग्राम 

(ग) लंबाई-किलोमीटर, मीटर, सेंटीमीटर 

(घ) धारिता-लीटर, मिलिलीटर 

31 -32. व्यावहारिक गणित (2)

(क) समय का ज्ञान - प्रातः, दोपहर, साय॑, रात्रि ।

(i) कैलेण्डर देखना, पढ़ना

(ii) दिनों के नाम

(iii) महीनों के नाम और उनमें दिनों की संख्या।

(iv) दिन, सप्ताह, मास, वर्ष, लीप वर्ष आदि का ज्ञान

(ख) समय 

घंटा, मिनट, सेकण्ड तथा घड़ी देखना, पढ़ना

33. रोमन सख्याएँ 1 से 500 तक - इनकी सीमाएँ, भारतीय पद्धति से तुलना।

34 -35 भिन्‍न अंश, हर का ज्ञान । विभिन्न प्रकार के दिन उनके जोड़ घटा गुणा और भाग।

36-37. दशमलवों का जोड़, घटाना, गुणा, भाग।

38 - 48. मौखिक प्रयास में जोड़ घटाव गुणा भाग करना

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