04.06 तीन संख्याओ (a×b×c) की एक साथ गुणा करना



वैदिक गणित सूत्र :
तीन संख्याओं की एक साथ गुणा करना 

 गुणन (Multiplication) - 3 
तीन संख्याओ a×b×c की एक साथ गुणा करना

~विचलन विधि 
~ सूत्र - निखिलम् ( Nikhilam) 
जगद्गुरु स्वामी भारती कृष्ण तीर्थ जी महाराज द्वारा रचित वैदिक गणित गुणन- प्रक्रिया (Multiplication - method) के लिए एक सूत्र निखिलम् है जिसके माध्यम से आधार (base)- 10, 100, 1000, 10000... इत्यादि तथा उपाधार (sub-base) -  20, 30, 200, 300, 4000, 50000,..... इत्यादि के नजदीक के संख्याओं का गुणनफल सरल तथा रोचक ढ़ंग से प्राप्त किया जा सकता है। 

~आधार अथवा उपाधार के निकटता के आधार पर विचलन विधि को दो भागों में विभाजित किया जा सकता है। 

प्रथम - आधार अथवा उपाधार से छोटी संख्या 
यथा 9, 8,....., 99, 98, 97,...., 998, 997, 996, 989,...., 9997, 9996,...... इत्यादि। 

द्वितीय - आधार अथवा उपाधार से बड़ी संख्या 
यथा 11, 12,..., 101, 102,..., 1002, 1003,....., 10002, 10003, 10004... इत्यादि ।

तीन संख्याओ a×b×c की एक साथ गुणा करना

तीन संख्याओं का गुणा -

गुणन संक्रिया में तीन खण्ड़ बनाते हैं।

  1. प्रथम खण्ड़ कोई भी एक संख्या (शेष दो संख्याओं के विचलन का योग)
  2. मध्य खण्ड़ दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग
  3. तीसरा खण्ड़ तीनों विचलनों का गुणन फल

इस भाग में विचलन विधि के अन्तर्गत हम आधार से बड़ी तथा छोटी संख्याओं के गुणन प्रक्रिया को समझने का प्रयास करेंगे—
इस विधि  हम तीन अंकों की संख्याओं के गुणन प्रक्रिया को विभिन्न उदाहरणों के द्वारा समझने का प्रयास करेंगे। 
उदाहरण (1) 
 Aa × Bb × Cc 
यहाँ Aa आधार 10 से a बड़ा है तथा B आधार 10 से b बड़ा है तथा C आधार 10 से c बड़ा है। 
( A ± a ) × ( B ± b ) × ( C ± c) 

( A ± a ) 
( B ± b ) 
( C ± c ) 
यहाँ उपरोक्त प्रश्न के उत्तर को तीन पक्ष में विभक्त करेंगे बांया पक्ष, मध्य पक्ष तथा दांया पक्ष 
LHS/MS/RHS
/(±a×±b×±c)

RHS दांया पक्ष - 
= { (±a) × (±b) × (±c)} 
= z  

MS मध्य पक्ष - 
= { (±a) × (±b) + (±b) × (±c) + (±c) × (±a )} 
= (ab) + (bc) + (ca) 
= y

LHS बांया पक्ष - 
= A ± b ± c या B ± c ± d या C ± a ± b 
= x 
अतः Aa × Bb × Cc = x/ y / z 
                               = xyz ( उत्तर) 

Formula
Aa × Bb × Cc 
= [A ± b ± c]/[(ab)+(bc)+(ca)] / [abc]

उदाहरण (1) 
 12 × 13 × 14 
यहाँ 12 आधार 10 से 2 बड़ा है तथा 13 आधार 10 से 3 बड़ा है तथा 14 आधार 10 से 4 बड़ा है। 
( 12 / + 2 ) × ( 13  / + 3 ) × ( 14 / +4) 

( 12  + 2 ) 
( 13  + 3 ) 
( 14  + 4 ) 
यहाँ उपरोक्त प्रश्न के उत्तर को तीन पक्ष में विभक्त करेंगे बांया पक्ष, मध्य पक्ष तथा दांया पक्ष 
LHS/MS/RHS

RHS दांया पक्ष - 
= { (+ 2) × (+ 3) × (+4)} 
= + 24  

MS मध्य पक्ष - 
= { (+2) × (+3) + (+3) × (+4) + (+4) × (+2 )} 
= (+6) + (+12) + ( +8) 
= 26 

LHS बांया पक्ष - 
= 12 + 3 +4, 13 + 2 +4 या 14 +2 +3 
= 19 
अतः 12 × 13 × 14 = 19  / ²6 / ²4 
                               = 19 +2 /  6 +2 / 4 
                               = 21 8 4 ( उत्तर) 

By Formula
Aa × Bb × Cc 
= [A ± b ± c]/[(ab)+(bc)+(ca)] / [abc]
12 × 13 × 14 
= 12+3+4 /2×3+3×4+4×2/2×3×4
= 17 /6+12+8/24
= 17 /26/24
= 17 / ²6/ ²6 
= 21 / 8 / 6 
= 2186 ( उत्तर)

उदाहरण (2) 
11 × 12 × 13 
यहाँ 11 आधार 10 से 1 बड़ा है तथा 12 आधार 10 से 2 बड़ा है तथा 13 आधार 10 से 4 बड़ा है। 
( 11 / + 1 ) × ( 12 / + 2 ) × ( 13 / +3) 

( 11 + 1 ) 
( 12 + 2 ) 
( 13 + 3 ) 
यहाँ उपरोक्त प्रश्न के उत्तर को तीन पक्ष में विभक्त करेंगे बांया पक्ष, मध्य पक्ष तथा दांया पक्ष 
LHS/MS/RHS

RHS दांया पक्ष - 
= { (+ 1) × (+ 2) × (+3)} 
= + 06  

MS मध्य पक्ष - 
= { (+1) × (+2) + (+2) × (+3) + (+3) × (+1 )} 
= (2) + (6) + (3) 
= 11 

LHS बांया पक्ष - 
= 11 + 2 +3, 12 + 4 +1 या 13 +1 +2 
= 16 
अतः 11 × 12 × 3 = 16 / ¹1 / ⁰6 
                               = 17 / 2 / 6 
                               = 1726 ( उत्तर) 
By Formula
Aa × Bb × Cc 
= [A ± b ± c]/[(ab)+(bc)+(ca)] / [abc]
11 × 12 × 13 
= 11+2+3 /1×2+2×3+3×1/1×2×3
= 16 /2+6+3/6
= 16 /11/6
= 16 / ¹2 / ⁰6 
= 17 / 2 / 6 
= 1726 ( उत्तर)

तीन संख्याओं का गुणा -

गुणन संक्रिया में तीन खण्ड़ बनाते हैं।

  1. प्रथम खण्ड़ उपाधार संख्या का वर्ग x [कोई भी एक संख्या शेष दो संख्याओं के विचलन का योग]
  2. मध्य खण्ड़ = [दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग] x उपाधार अंक
  3. तीसरा खण्ड़ तीनों विचलनों का गुणन फल

 

Example: 21 X 23 X 26

21          +1

23          +3

26          +6

______________________________

= 2[26+3+1] / 2 [3+18+6] / (+1) (+3) (+6)

= 4 x 30 / 2 x 27 / 18

= 120 / 54/ 18

= 120 / 55 / 8

= 12558

संकेत -

1.    निकटतम आधार 10, उपाधार अंक 2 तथा उपाधार = 10 x 2 = 20; अत:

विचलन = 21 – 20 = +1

विचलन = 23 – 20 = +3

विचलन = 26 – 20 = +6

2.    तीसरे खण्ड़ में तीनों विचलनों का गुणनफल लिखते हैं।

= (+1) x (+3) x (+6) = 18

3.    मध्य खण्ड़ में दो-दो विचलनों के गुणनफल के योग को उपाधार अंक से गुणा कर लिखते हैं।

= [(+1 x +3) + (+3 x+6) + (+1 x+6)] x 2 = [3+18+6] = 27 x 2 = 54

4.    प्रथम खण्ड़ में उपाधार संख्या का वर्ग x [कोई भी एक संख्या शेष दो संख्याओं के विचलन का योग] लिखते हैं।

= 22 [21 + 3 + 6]   22 [23 + 1 +6]   22 [26 + 1 + 3] = 4 x 30= 120

5.    आधार में जितने शून्य हो मध्य तथा तीसरे खण्ड़ में उतने ही अंक होने चाहिऐ, अत: अंकों को समायोजित करते हैं।

6.    अभीष्ट गुणनफल = 12558

उदाहरण (3)
98 × 97 × 94 
यहाँ 98 आधार 100 से 02 छोटा है, 97 आधार 100 से 03 छोटा है तथा 94 आधार 100 से 06 छोट़ा है 
(98 / – 02) × ( 97/ – 03) × (94/– 06) 

यहाँ उपरोक्त प्रश्न के उत्तर को तीन पक्ष में विभक्त करेंगे बांया  दांया पक्ष, मध्य पक्ष तथा बांया पक्ष। 
दांया पक्ष 
 { (– 02) × (–03) × (–06) 
= – 36 ) 

मध्य पक्ष   
{ (–02) × ( –03) + ( – 03) × (–04) + (–04) × ( –02) 
= { +06 + 12 + 08} 
= + 26 

बांया पक्ष 
{ (98 – 03 – 06) या (97 –02 –06) या (94 – 02 – 03 )} 
= 89 

अतः 98 × 97 × 94 
= 89  / +26 / - 36 
= 89  / (26 - 1) / (100 -  36)
=  89 /25/64 
=  892564 ( उत्तर) 

उदाहरण ( 4 ) 
 1006 × 997 × 1011 
यहाँ 1006 आधार 1000 से 006 बड़ा है, 997 आधार 1000 से 003 छोटा है तथा 1011 आधार 1000 से 011 बड़ा है। 
( 1006 / + 006 ) × ( 997 / – 003) × ( 1011  / + 011 ) 
यहाँ उपरोक्त प्रश्न के उत्तर को तीन पक्ष में विभक्त करेंगे  दांया पक्ष, मध्य पक्ष तथा दांया पक्ष। 
दांया पक्ष - 
{ (+ 006) × (– 003) × (+011) = –198 } 

मध्य पक्ष - 
{ (+ 006) ×(–003) + (–003)× (+011) + (+011) × (+006)} 
= { – 018 + ( – 033) + 066} 
= 015 
बांया पक्ष - 
(1006 - 003 + 011 या 997 + 011 + 006 या 1011 + 006 - 003 = 1014 ) 
अतः 
     106 × 997 × 1011  
 = 1014 / 015 / – 198 
 =  1014 / (015 – 1) / (1000 – 198) 
= 1014/ 014 /802
= 1014/ 013 /802 (उत्तर )  

अभ्यास - 
(1) 8 × 9 × 7 = 
(2) 9 × 12 × 6 = 
(3) 12 × 14 × 13 = 
(4) 13 × 8 × 15 = 
(5) 92 × 94 × 96 = 
(6) 93 × 104 × 97 = 
(7) 105 × 107 × 89 = 
(8) 111 × 102 × 108 = 
(9) 1008 × 998 × 1012 = 
( 10) 996 × 991 × 1012 
( 11) 1008 × 1007 × 1054 = 
( 12)  995 × 988 × 990 = 
( 13)  991 × 988 × 1002 = 
( 14)  1013 × 997 × 1004 =
( 15)  10012 × 10008 × 10009 
( 16)  9997 × 9992 × 9995 = 
( 17)  9993 × 9989 × 10015 = 
( 18)  10014 × 9994 × 10017 =
( 19)  91 × 112 × 105 = 
( 20)  1025 × 1015 × 985

By
ॐ जितेंद्र सिंह तोमर

तीन संख्याओं का गुणा -

गुणन संक्रिया में तीन खण्ड़ बनाते हैं।

  1. प्रथम खण्ड़ कोई भी एक संख्या (शेष दो संख्याओं के विचलन का योग)
  2. मध्य खण्ड़ दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग
  3. तीसरा खण्ड़ तीनों विचलनों का गुणन फल

 

Example: 91 X 93 X 96

91          – 09

93          – 07

96          – 04

___________________________________

= 91 + (–07) + (–04) / 63+28+36 / (–09) x (–07) X (–04)

= 91–07–04 / 127/ (–252)

= 80 / ¹27/ (-252)

= 8127 / (-252)

= 8127-2 / (-52)

= 8125 / (-52)

= 8124 / 100-52

= 8124 / 48

= 812448

संकेत -

1.    निकटतम आधार 100 अत:

विचलन = 91 – 100 = - 09

विचलन = 93 – 100 = - 07

विचलन = 96 – 100 = - 04

2.    तीसरे खण्ड़ में तीनों विचलनों का गुणनफल लिखते हैं।

= (-09) x (-07) x (-04) = (-252)

3.    मध्य खण्ड़ में दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग लिखते हैं।

= (-09 x -07) + (-07 x -04) + (-04 x -09) = 63+28+36 = 127

4.    प्रथम खण्ड़ में कोई एक संख्या तथा शेष दो संख्याओं के विचलनों का योग लिखते हैं।

= 91 + (-07) + (-04)  ó 93 + (-09) + (-04)  ó 96 + (-09) + (-07) = 80

5.    आधार में जितने शून्य हो मध्य तथा तीसरे खण्ड़ में उतने ही अंक होने चाहिऐ, अत: अंकों को समायोजित करते हैं।

6.    अभीष्ट गुणनफल = 812448

 

 तीन संख्याओं का गुणा -

गुणन संक्रिया में तीन खण्ड़ बनाते हैं।

  1. प्रथम खण्ड़ कोई भी एक संख्या (शेष दो संख्याओं के विचलन का योग)
  2. मध्य खण्ड़ दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग
  3. तीसरा खण्ड़ तीनों विचलनों का गुणन फल

 

Example: 91 X 93 X 96

91          - 09

93          - 07

96          - 04

__________________________________________

= 91 + (-07) + (-04) / 63+28+36 / (-09) x (-07) X (-04)

= 91-07-04 / 127/ (-252)

= 80 / 127/ (-252)

= 8127 / (-252)

= 8127-2 / (-52)

= 8125 / (-52)

= 8124 / 100-52

= 8124 / 48

= 812448

संकेत -

1.    निकटतम आधार 100 अत:

विचलन = 91 – 100 = - 09

विचलन = 93 – 100 = - 07

विचलन = 96 – 100 = - 04

2.    तीसरे खण्ड़ में तीनों विचलनों का गुणनफल लिखते हैं।

= (-09) x (-07) x (-04) = (-252)

3.    मध्य खण्ड़ में दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग लिखते हैं।

= (-09 x -07) + (-07 x -04) + (-04 x -09) = 63+28+36 = 127

4.    प्रथम खण्ड़ में कोई एक संख्या तथा शेष दो संख्याओं के विचलनों का योग लिखते हैं।

= 91 + (-07) + (-04)  ó 93 + (-09) + (-04)  ó 96 + (-09) + (-07) = 80

5.    आधार में जितने शून्य हो मध्य तथा तीसरे खण्ड़ में उतने ही अंक होने चाहिऐ, अत: अंकों को समायोजित करते हैं।

6.    अभीष्ट गुणनफल = 812448


तीन संख्याओं का गुणा -

गुणन संक्रिया में तीन खण्ड़ बनाते हैं।

  1. प्रथम खण्ड़ उपाधार संख्या का वर्ग x [कोई भी एक संख्या शेष दो संख्याओं के विचलन का योग]
  2. मध्य खण्ड़ = [दो-दो विचलनों के गुणनफल का योग] x उपाधार अंक
  3. तीसरा खण्ड़ तीनों विचलनों का गुणन फल

 

Example: 21 X 23 X 26

21          +1

23          +3

26          +6

__________________________________________

= 2[26+3+1] / 2 [3+18+6] / (+1) (+3) (+6)

= 4 x 30 / 2 x 27 / 18

= 120 / 54/ 18

= 120 / 55 / 8

= 12558

संकेत -

1.    निकटतम आधार 10, उपाधार अंक 2 तथा उपाधार = 10 x 2 = 20; अत:

विचलन = 21 – 20 = +1

विचलन = 23 – 20 = +3

विचलन = 26 – 20 = +6

2.    तीसरे खण्ड़ में तीनों विचलनों का गुणनफल लिखते हैं।

= (+1) x (+3) x (+6) = 18

3.    मध्य खण्ड़ में दो-दो विचलनों के गुणनफल के योग को उपाधार अंक से गुणा कर लिखते हैं।

= [(+1 x +3) + (+3 x+6) + (+1 x+6)] x 2 = [3+18+6] = 27 x 2 = 54

4.    प्रथम खण्ड़ में उपाधार संख्या का वर्ग x [कोई भी एक संख्या शेष दो संख्याओं के विचलन का योग] लिखते हैं।

= 22 [21 + 3 + 6]  ó 22 [23 + 1 +6]  ó 22 [26 + 1 + 3] = 4 x 30= 120

5.    आधार में जितने शून्य हो मध्य तथा तीसरे खण्ड़ में उतने ही अंक होने चाहिऐ, अत: अंकों को समायोजित करते हैं।

6.    अभीष्ट गुणनफल = 12558

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